Monday, April 15, 2013

अश्क....

अश्क नयनों की सुर्ख़ियों का किस्सा जतलाते है,
अश्क ह्रदय में दफ़न सूनेपन की विरह को बतलाते है,
अश्क आँखों के चिलमन से उतरकर दर्द की दास्ताँ सुनाते है,
अश्क सुलगी रातों में बहकर अँधेरे का अर्थ समझाते है,
अश्क फिक्र की आग में जलकर व्यर्थ मन को और कमजोर बनाते है,
अश्क स्वप्न में  उलझी अधूरी ख्वाहिश को और बढाते है,
अश्क यादों की चिंगारी में झुलसते दिल को और तड़पाते  है,
अश्क सीने के एक -एक हिस्से में बसे हर शख्स के लिए प्यार को महसूस कराते है,
इसलिए अश्क हीरे- मोती से ज्यादा अनमोल कहलाते है,
क्यूंकि ये अश्क ही हैं जो रिश्तों के मिलन की वजह बन जाते है…… !!!

:निशा :) smile always

No comments:

Post a Comment