खुबसूरत एहसास ने दिल में बुलाया एक मेहमान,
साहिलों पर खड़ी मंजिल न खोजे कोई कश्तियाँ,
हाथ थामे जो चल दिए तो साथ जैसे सारा जहां,
तिन-तिन कर नन्हे सपनो से जोड़ा ये तेरा मेरा आशियाँ,
खिलखिलाती जमीन की महक जिसमे, उजाले लिए अपने संग खुला आस्मान……
निशा :)smile always
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