Wednesday, March 13, 2013

दबे पैरो की आहट लिए आया कोई मेरे रस्ते...

दबे पैरो की आहट लिए आया कोई मेरे रस्ते....
दिल में एक तस्वीर बनाई और बोला मुझसे हँसते हँसते....
दिल के ज़ज्बातों में डूबी हर एक बात है प्यारी....
पर इनको महसूस करके मुझ पर हंसती है दुनिया सारी......
मैं बोली मेरी बात मान ओह पगले हर किसी से यूँ दिल ना लगा.....
ज़ज्बातों से भरे समंदर के बहाव में खुद को यूँ ना बहा.....
इस दुनिया की रीत है जिसमे तू भी फंस कर रह जायेगा.....
अपने हिस्से का सब जी लेंगे बस तू एक सोच सोच कर पछतायेगा.....
मन के हिस्सेदारों में मिलेंगे कुछ तुझको ऐसे लुटेरे.....
जिनको समझना चाह कर भी तू कभी ना समझ पायेगा.....
वक़्त की कसौटी पर तू सही तब ही कहलायेगा.....
जब दिल की कीमत जान तू उसके सही हिस्से कर पायेगा.....!!!

निशा

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